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भागलपुर के V2 मॉल में सेक्स रैकेट का पर्दाफाश: 2 साल से लड़कियों की तस्करी का धंधा!

भागलपुर के V2 मॉल में सेक्स रैकेट का पर्दाफाश: 2 साल से लड़कियों की तस्करी का धंधा!

भागलपुर के मॉल में 2 साल से चल रहा था सेक्स रैकेट

भागलपुर के V2 मॉल में सेक्स रैकेट का पर्दाफाश: 2 साल से लड़कियों की तस्करी का धंधा! Sex रैकेट का पर्दाफाश: 2 साल से लड़कियों की तस्करी का धंधा वाला मॉल में पुलिस दबिश, एयरपोर्ट पर चल रहा था बच्ची को निरहारी मरवाने का ड्रामा, भागलपुर के मॉल में 2 साल से चल रहा था सेक्स रैकेट

भागलपुर के ततारपुर थाना क्षेत्र के आशा आदमपुर चौक के पास स्थित V2 मॉल के बेसमेंट में पुलिस ने 25 सितंबर को रेड मारी, जिससे एक बड़े सेक्स रैकेट का खुलासा हुआ। इस रेड में पुलिस ने 2 लड़कियों और 2 लड़कों को आपत्तिजनक स्थिति में गिरफ्तार किया। इस रैकेट का मास्टरमाइंड दिलीप कुमार सिंह था जिसकी उम्र लगभग61 साल है, जो भागलपुर का निवासी है। इसके साथ ही, दो अन्य युवक भी इस रैकेट में शामिल थे, जो कस्टमर लाकर लड़कियों से मिलवाते थे।

भागलपुर के V2 मॉल में सेक्स रैकेट का पर्दाफाश: 2 साल से लड़कियों की तस्करी का धंधा!

रेड के दौरान मिले चौंकाने वाले तथ्य

सिटी एसपी के. रामदास ने इस रेड की जानकारी देते हुए बताया कि यह रैकेट पिछले 2 सालों से चल रहा था। संचालक सोशल मीडिया और WhatsApp के जरिए कस्टमर से संपर्क करता था और उन्हें WhatsApp ग्रुप में जोड़कर डील फाइनल की जाती थी। पुलिस ने इस रैकेट के तहत 2 फिक्स लड़कियों (उम्र 19 और 27) को भी गिरफ्तार किया, जिन्हें इस काम के लिए प्राथमिकता दी जाती थी।

अपराध की गहराई: लड़कियों का चेहरा और उम्र देखकर तय होते थे रेट

पुलिस की जांच से पता चला है कि इस रैकेट में शामिल लड़कियों की उम्र और चेहरे के हिसाब से उनके रेट तय किए जाते थे। स्थानीय कस्टमर्स के लिए कम उम्र की लड़कियों के रेट 2 से 4 हजार तक थे, जबकि बड़ी उम्र की लड़कियों के लिए 1600 से 2000 रुपए तक का शुल्क था। अगर लड़कियों को बिहार के दूसरे जिलों में भेजा जाता था, तो उनका रेट 15 हजार रुपए तक पहुंच जाता था।

कस्टमर की डिटेल्स और प्लानिंग

पुलिस की जांच में यह भी सामने आया कि कस्टमर की सभी जानकारी संभालकर रखी जाती थी। मॉल के बेसमेंट में केबिन बनाए गए थे, जहां लड़कियों को बताया जाता था कि उन्हें कहां और कब जाना है। संचालक ने मॉल के अंडरग्राउंड में एक रेस्टोरेंट का बोर्ड लगा रखा था, ताकि वहां आने-जाने वालों पर कोई शक न हो।

आर्थिक तंगी ने किया मजबूर

गिरफ्तार की गई लड़कियों में से एक 12वीं पास है और दूसरी ग्रेजुएट है। पुलिस का मानना है कि ये लड़कियां आर्थिक तंगी के चलते इस धंधे में फंसी थीं। इस दौरान कोर्ट में पेशी के दौरान लड़कियों के परिजन रोते हुए नज़र आए, हालांकि, उन्होंने इस मामले पर कोई ठोस बयान नहीं दिया।

2 साल से चल रहा था रैकेट, पुलिस को मिली बड़ी सफलता

भागलपुर के V2 मॉल में चल रहा यह सेक्स रैकेट पुलिस के लिए बड़ी सफलता साबित हुआ। हालांकि, इस रैकेट का खुलासा करने के बाद मॉल के आसपास के दुकानदार और मॉल कर्मचारी इस मुद्दे पर कुछ भी बोलने से साफ इनकार कर रहे हैं। फिलहाल, पुलिस इस रैकेट से जुड़े अन्य लोगों की तलाश में जुटी है और इस अपराध को जड़ से उखाड़ने की कोशिश कर रही है।

निष्कर्ष

यह घटना समाज के सामने एक गंभीर प्रश्न उठाती है कि कैसे आर्थिक तंगी और लालच मासूम लड़कियों को ऐसे खतरनाक रास्तों पर ले जाता है। पुलिस की सजगता से इस बड़े रैकेट का पर्दाफाश हुआ, लेकिन इससे जुड़े अन्य लोगों को पकड़ना अभी बाकी है।

पुलिस की जांच में यह भी खुलासा हुआ कि यह रैकेट केवल मॉल तक सीमित नहीं था, बल्कि सोशल मीडिया पर भी इसका नेटवर्क फैला हुआ था। रैकेट के संचालक दिलीप कुमार सिंह ने कई फर्जी सोशल मीडिया प्रोफाइल बना रखे थे, जिनके जरिए वह नए कस्टमर्स तक पहुंचता था। ये प्रोफाइल्स ज्यादातर लोकल ग्रुप्स में एक्टिव रहते थे, जहां से कस्टमर ढूंढे जाते थे। इस पूरी प्रक्रिया में, लड़कियों को पहले ही व्हाट्सऐप ग्रुप्स में जोड़ा जाता था, जहां कस्टमर्स के साथ बातचीत और डील तय की जाती थी।

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